राहुल गांधी और प्रियांका गांधी स्वयं को हिन्दू प्रमाणित करने के लिए बार-बार शोर मचा रहे हैं। वह हर चुनाव से पूर्व तिलक, माला आदि पहनकर स्वयं को बड़े से बड़ा हिन्दू बताते हैं, परन्तु उनकी प्रदेशों की सरकार क्या करती है, यह किसी से छुपा नहीं है। दक्षिण में जहाँ पर वह स्टेलिन का समर्थन करते हुए भारत को राज्यों का एक संघ बताते हैं, वहां पर मंदिरों का लगातार विध्वंस हो रहा है, तो उनके शासित राजस्थान में भी स्थिति कहीं से भी बेहतर नहीं है।
राजस्थान में जहाँ आए दिन महिलाओं के साथ बलात्कार के समाचार सामने आते रहते हैं तो वहीं अब एक ऐसा मामला सामने आया है, जिसने कांग्रेस के हिन्दू-विरोधी रूप को खुलकर सबके सामने ला दिया है। राजस्थान में सालासर बालाजी द्वार को रात के अँधेरे में चुपचाप तोड़ दिया गया है। राजस्थान में चुरू जिले में सुजानगढ़ में सालासार बालाजी द्वार बना था। इस द्वार पर प्रभु श्री राम का दरबार बना हुआ था। सड़क चौड़ी करने के लिए इस द्वार को ढहाया गया, और सबसे अधिक दुर्भाग्यपूर्ण यह है कि इस विषय में न ही आम जनता को और न ही सालासर बालाजी के पुजारियों को सूचित किया गया।
यह वीडियो सामने आने के बाद जनता में कांग्रेस को लेकर बहुत ही अधिक क्रोध है,
सोशल मीडिया पर लोग इसकी निंदा कर रहे हैं कि कांग्रेस के रहते औरंगजेब की क्या जरूरत,
भारतीय जनता पार्टी के नेता पी मुरलीधर राव ने लिखा कि
जो श्रीराम का नही वो किसी काम का नही!आपत्तिजनक तरीके से सालासर बालाजी के प्रवेश द्वार का विध्वंश तथा श्री राम दरबार की प्रतिमा का खंडन अक्षम्य अपराध है।कांग्रेसी शासन में ये कोई नई बात नही, उनकी इसी हिन्दू विरोधी मानसिकता से उनकी बची खुची सत्ता भी जानी है
भारतीय जनता पार्टी की सांसद दिया कुमारी ने भी वीडियो साझा करते हुए प्रश्न किया कि
“राजस्थान की गहलोत सरकार को भगवान श्री राम से इतनी नफरत क्यों है? सालासर बालाजी के प्रमुख द्वार को प्रदेश की कांग्रेस सरकार द्वारा विकास के नाम पर ध्वस्त करवाना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण और निंदनीय है।“
वसुंधरा राजे ने भी इस घटना का विरोध किया है,
जो लोग प्रश्न कर रहे हैं कि कांग्रेस को प्रभु श्री राम से इतनी घृणा क्यों है, वह इस बात को भूल रहे हैं कि कांग्रेस का तो दूसरा नाम ही हिन्दू विरोध है। वह चुनावी हिन्दू तो है, परन्तु वास्तव में कितनी हिन्दू है, यह उसके कर्मों से पता चलता ही है। कांग्रेस इन दिनों पूरी तरह से वामपंथियों के हाथ का खिलौना बन गयी है, और वह उसी राह पर चल रही है, जिस राह पर वामपंथी और कट्टर इस्लामी उसे लेकर जा रहे हैं।
आधी रात को चोरी छिपे की गयी इस घटना से लोगों के दिल में आक्रोश है! क्या कारण है कि चुनावों के समय मंदिर मंदिर घूमने वाले राहुल गांधी इस घटना पर मौन हैं? चुनावों के समय मंदिर मंदिर घूमने वाली प्रियांका गांधी इस पर मौन हैं और चुनावों के समय यह कहने वाले कांग्रेसी कि भारतीय जनता पार्टी अयोध्या में राम मंदिर का श्रेय ले रही है, और प्रभु श्री राम का अपमान कर रही है, वह सभी अपनी कांग्रेस की सरकार द्वारा किए गए प्रभु श्री राम के अपमान पर शांत हैं?
हिन्दू संगठनों और भारतीय जनता पार्टी ने इस विषय पर प्रदर्शन किया
जैसे ही यह वीडियो वायरल हुआ, वैसे ही हिन्दू संगठनों का गुस्सा फूट पड़ा, और उन्होंने सुजानगढ़-सालासार रोड को जाम कर दिया। इस विषय में जब विरोध अधिक बढ़ा तो सरकार की ओर से यह सफाई दी गयी कि यह गलती हुई है कि पहले मूर्तियों को सम्मान पूर्वक हटा लेना चाहिए था। हालांकि मार्ग को चौड़ा करने के लिए यह द्वार हटाया गया है, जब द्वार पुन: बनाया जाएगा, तो प्रतिमाओं को पुन: स्थापित कर दिया जाएगा। परन्तु यह आश्वासन लिखित में नहीं दिया गया है।

जागरण के अनुसार हिंदूवादी संगठन आन्दोलन की तैयारी शुरू कर चुके हैं। देखना होगा कि इस विषय में राहुल गांधी का दृष्टिकोण क्या रहता है? क्योंकि उत्तर प्रदेश में लड़की हूँ, लड़ सकती हूँ का नारा लगाने वाले प्रियांका गांधी ने राजस्थान में महिलाओं पर होने वाले अत्याचारों पर मौन साध रखा है। न ही चुनावी हिन्दू राहुल गांधी को राजस्थान में टूटते हिन्दू मंदिर दिखाई देते हैं और न ही चुनावी आम महिला प्रियांका गांधी को राजस्थान में महिलाओं के साथ होते अत्याचार!
यह दोनों ही मौन हैं। देखना होगा कि इनका मौन कब तक इस मामले पर रहता है, परन्तु यह आशा कम ही है कि इस मामले पर राहुल गांधी का कोई वक्तव्य आएगा क्योंकि प्रभु श्री राम से कांग्रेस की घृणा आज की नहीं है, यह वही सरकार है, जिसने प्रभु श्री राम को न्यायालय में काल्पनिक बताया था!