कल का दिन दुनिया के लिए बहुत बुरी खबर ले कर आया, जापान के पूर्व प्रधानमंत्री शिंज़ो आबे की हत्या कर दी गयी। जापान एक शांतिपूर्ण देश माना जाता है, वहां से ऐसी खबर के मिलने से पूरी दुनिया में शोक की लहर फ़ैल गयी है। शिंज़ो आबे जापान के सबसे लोकप्रिय प्रधानमंत्री माने जाते हैं, उनके निधन पर लगभग सभी देशों और दुनियाभर के नेताओं ने शोक व्यक्त किया है।
शिंज़ो आबे को भारत का बहुत घनिष्ठ मित्र भी माना जाता था। भारत के दूसरे सबसे बड़े सम्मान पद्म विभूषण से सम्मानित शिंज़ो आबे की असामयिक मृत्यु पर भारत में भी एक दिन का राष्ट्रीय राजकीय शोक मनाया जा रहा है। प्रधानमंत्री मोदी ने आबे की हत्या को भारत का और स्वयं का निजी नुकसान बताया है, उन्होंने एक मर्मस्पर्शी लेख भी लिखा जिसमे उन्होंने शिंज़ो आबे के साथ उनके घनिष्ठ सम्बन्धो के बारे में विस्तार से बताया है।
प्रधानमंत्री मोदी ने आबे से अपनी पहली वार्ता के बारे में बताया है, उन्होंने लिखा है कि आबे हमेशा से भारत से मित्रता के सम्बन्ध बनाने के इच्छुक थे। मोदी जी के प्रधानमंत्री बनने के बाद इन सम्बन्धो में और घनिष्ठता आयी और भारत जापान ने मिल कर कई प्रोजेक्ट्स पर साथ काम किया। आबे और मोदी की मित्रता के कारण दोनों देशो के बीच राजनीतिक, आर्थिक, सुरक्षा, टेक्नोलॉजी , और विकास के विषय पर अभूतपूर्व सहयोग हुआ।
प्रधानमन्त्री मोदी ने अपने अनन्य मित्र शिंज़ो आबे को श्रद्धांजलि देते हुए दुःख व्यक्त किया, उनके अप्रतिम व्यक्तित्व को याद किया। भारत और जापान के सम्बन्धो को नयी ऊंचाई पर ले जाने में उनके योगदान का स्मरण किया, और अंत में अपने मित्र की मृत्य पर क्षोभ प्रकट करते हुए कहा कि उन्हें नहीं पता था कुछ ही हफ्तों पहले हुई गोष्ठी अंतिम साबित सिद्ध।
दुनिया शोक में डूबी, वहीं चीन में शिंजो आबे की हत्या पर ख़ुशी मनाई जा रही है
जहां एक अप्रत्याशित दुर्घटना पर दुनिया भर में शोक मनाया जा रहा है, वहीं एक देश है जहां इस घटना पर ख़ुशी मनाई जा रही है। हम बात कर रहे हैं चीन की जहां शिंजो आबे पर हमले की खबर आते ही सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म वेइबो पर लोग अपनी ख़ुशी व्यक्त करने लगे। कुछ लोग तो ऐसे भी थे जो उनकी मृत्यु की कामना कर रहे थे।
जैसे ही आबे की मृत्यु की खबर आयी, चीन के सोशल मीडिया में अभूतपूर्ण तरीके से लोग ख़ुशी मनाने लग गए। चीनी लोग शिंज़ो आबे को गोली मारने वाले हमलावर को नायक बता रहे थे। कई प्रतिष्ठानों ने तो आबे की मृत्यु की ख़ुशी में लोगो को मुफ्त उत्पाद और सेवाएं देने की घोषणा भी की। यह बड़ी ही अजीब बात थी, क्योंकि किसी की मृत्यु पर ऐसे ख़ुशी मानना किसी भी तरह से न्यायसंगत नहीं कहा जा सकता।
नीचे दिए गए ट्वीट में आप देख सकते हैं, कि चीन के कई प्रतिष्ठान अपने ग्राहकों को शिंज़ो आबे की मृत्यु की ख़ुशी में कई तरह के उपहार और कई तरह की छूट दे रहे हैं। यह शायद दुनिया के इतिहास में पहली बार हो रहा है, जब किसी राजनीति की मृत्यु पर इस तरह खुल कर ख़ुशी मनाई जा रही हो।
हमे एक और वीडियो मिला है, जो चीन के किसी पब का है। इसमें आप देख सकते हैं, आयोजकों ने शिंज़ो आबे का चित्र लगा रखा है, और उनकी मृत्यु की ख़ुशी में इस पब ने लोगो को मुफ्त पेय पदार्थ और खाने पीने के सामान पर अतिरिक्त छूट देने की घोषणा कर रखी है।
यूं तो चीन और जापान के बीच दूसरे विश्व युद्ध के समय से ही मतभेद रहे हैं, उस समय जापान की सेना द्वारा चीन में काफी मारकाट मचाई गयी थी, जिसके कारण चीन में जापान को लेकर हमेशा से ही नकारात्मक मानसिकता रही है। जहां तक शिंज़ो आबे की बात है, ऐसा माना जाता है शिंजो आबे से चीन की दुश्मनी काफी पुरानी है क्योंकि आबे वामपंथ के विरोधी थे, और उन्होंने हमेशा ही चीन की गलत नीतियों की आलोचना की थी।
वह शिंज़ो आबे ही थे जिन्होंने चीन के आक्रामक व्यवहार का विरोध किया, उन्होंने चीन के बढ़ते वर्चस्व को टक्कर देने के लिए अमेरिका, भारत, और ऑस्ट्रेलिया के साथ मिल कर क्वाड (QUAD) का निर्माण किया, जो चीन के विरुद्ध एक बड़ा सामरिक संगठन है। इसके साथ ही आबे ने चीन के बढ़ते प्रभुत्व को काम करने के लिए प्रशांत महासागर क्षेत्र में कई कदम उठाये थे, और इसी कारण चीन उनसे काफी चिढ़ता था।
क्वाड (QUAD) ने शिंज़ो आबे के निधन पर वक्तव्य जारी किया
आबे के महत्त्व को आप इसी से समझ सकते हैं, कि उनके निधन पर अमेरिका, भारत और ऑस्ट्रेलिया के नेतृत्व ने एक साझा वक्तव्य जारी किया। यह क्वाड का ऐसा पहला कदम है, और इस वक्तव्य में इन तीनो देशों ने आबे के असाधारण योगदान का सम्मान करते हुए उन्हें एक निर्भीक, सुलझा हुआ, और महान नेता बताया। उनके निधन से हुई अपूरणीय क्षति के बारे में बोलते हुए यह भी कहा गया कि उनके क्वाड के सपने को पूरा करने में हरसंभव सहयोग किया जाएगा।